शोधकर्ताओं ने डेडबोट्स(Deathbots) से संबंधित चिंताओं को रेखांकित किया है।
डेडबोट्स(Deathbots) के बारे में:
• डेढबोट्स को ग्रीफबोट्स भी कहा जाता है। डेडबोट्स आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) आधारित चैटबोट्स हैं।
ये चैटबोट्स किसी मृतक की भाषा के पैटर्न और व्यक्तिगत गुणों का अनुकरण करते हैं।
इसके लिए वे उस मृतक के डिजिटल फुटप्रिंट्स (जब वह जीवित था, तब उसकी डिजिटल गतिविधियां) का उपयोग करते हैं।
संबंधित चिंताएं:
लोग ऐसे अनुकरणों से अत्यधिक भावनात्मक रूप से जुड़ सकते हैं।
ऐसे में आसानी से उनके साथ धोखाधड़ी आदि की जा सकती है।
यह लंबे समय तक मनोवैज्ञानिक क्षति का कारण बन सकता है। साथ ही, मौलिक रूप से इससे मृतक के अधिकारों का हनन हो सकता है।
कंपनियों द्वारा इसका मृतक के परिवार के सदस्यों, रिश्तेदारों व मिलों के साथ अवांछनीय व्यवहार के लिए उपयोग किया जा सकता है।
उदाहरण के लिए अनचाहे नोटिफिकेशंस, रिमाइंडर्स आदि भेजना।